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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
मध्यप्रदेश के टीकमगढ़ जिले ओरछा में भगवान श्रीराम का एक भव्य और अद्भुत मंदिर स्थापित है। इस मंदिर की सबसे खास बात ये है कि यहां श्री राम भगवान के रुप में नहीं बल्कि एक राजा के रूप में पूजे जाते हैं।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
यहां की लोक मान्यता के अनुसार यहां पर आज के समय में भी राम जी का ही शासन है। यही कारण है कि उसी कारण उन्हें दिन में पांच बार पुलिस द्वारा गार्ड ऑफ ऑनर दिया जाता है। बता दें यह परंपरा आज से करीबन 400 साल से चल रही है।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
चूंकि ये राजा राम मंदिर ओरछा में स्थित है इसलिए इसे ओरछा मंदिर भी कहा जाता है। यहां मंदिर प्रांगण में श्री राम के अलावा लक्ष्मण और माता जानकी की मूर्तियां स्थापित हैं। जिनका बहुत खूबसूरती से श्रंगार किया जाता है।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
मान्यताओं के अनुसार यहां पहले महल बनाया गया था,जिसमें मूर्ति को पहले ही स्थापित कर दिया गया था। इसके बाद जब मंदिर बना तब वहां से मूर्ति हटाने का बहुत प्रयास किया गया लेकिन इसमें सफल नही मिल सकी।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
जिस कारण से महल को मंदिर के रूप में बना दिया गया और मंदिर का नाम राजा राम मंदिर रख दिया गाया। स्थानीय लोगों के अनुसार कहा जाता है कि यहां राम जी रोज़ अयोध्या से अदृश्य रूप में आते हैं।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
मान्यताओं के अनुसार ओरछा की महारानी राजाराम के बाल रूप को अयोध्या से पैदल लेकर आईं थीं। रानी का नाम गणेशकुंवर था और राजा का नाम मधुरकशाह।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
रानी रामभक्त थीं। पौराणिक कथाओं के अनुसार एक बार वह अयोध्या की तीर्थयात्रा पर गईं और वहां सरयू नदी के किनारे लक्ष्मण किले के पास अपनी कुटी बनाकर साधना शुरू की।
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यहां आज भी अदृश्य रूप में होता है भगवान राम का आगमन
यहीं जल की अतल गहराइयों में उन्हें राजा राम के दर्शन हुए। रानी ने उनसे ओरछा चलने का आग्रह किया और इस तरह प्रभु श्रीराम ओरछा आए।