Kalighat Kali mandir: रायपुर में स्थित मां काली का ऐसा मंदिर जहां दोपहर में पुरुषों का आना है वर्जित
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    Kalighat Kali mandir: रायपुर में स्थित मां काली का ऐसा मंदिर जहां दोपहर में पुरुषों का आना है वर्जित

    कालीघाट मंदिर देश के 51 शक्ति पीठों में से एक है। यह मंदिर पूरी दुनिया में बहुत मशहूर है। कहते हैं की कभी ये मंदिर गंगा घाट से बिल्कुल जुड़ा हुआ था
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    Kalighat Kali mandir: रायपुर में स्थित मां काली का ऐसा मंदिर जहां दोपहर में पुरुषों का आना है वर्जित

    लेकिन अब यह दूर हो गया है। इस मंदिर को 17वीं शताब्दी का माना जाता है। माता सती जब अग्नि में भस्म हुई थी, तब त्रास्त हुए भोलेनाथ ने उन्हें पूरी धरती का चक्कर लगवाया था।
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    जहां-जहां पर मां के मृत शरीर के अंग गिरे थे, उन स्थानों को शक्तिपीठ कहा जाता है। इन्हीं में से एक है शक्तिपीठ कालीघाट मंदिर।
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    कहते हैं की कालीघाट में मां सती के दाहिने पांव की अंगुली गिरी थी। अन्य मान्ताओं के अनुसार यहां मां के दाहिने पांव का अंगुठा गिरा था।
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    पुराणों में मां काली को रौद्रावतार माना जाता है। उनकी प्रतिमा में देवी को विकराल रूप में दर्शाया जाता है लेकिन कालीघाट मंदिर में देवी मस्तक और चार हाथों के साथ नजर आती हैं। इस मंदिर में काली माता की जीभ बहुत लम्बी है और उनके दांत व जीभ सोने से बने हुए हैं।
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    इतिहास के साथ-साथ इसकी परंपरा भी बहुत अनोखी है। दुर्गा पूजन के लिए इस मंदिर में भक्तों की बहुत भीड़ लगती है। दुर्गोत्सव में दशमी को सिंदूर खेला जाता है।
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    Kalighat Kali mandir: रायपुर में स्थित मां काली का ऐसा मंदिर जहां दोपहर में पुरुषों का आना है वर्जित

    इस मंदिर में 2 से शाम 5 बजे तक सिर्फ महिलाएं प्रवेश करती हैं। इस समय में पुरुषों का प्रवेश करना वर्जित है। इस मंदिर में रोज मां काली को 56 भोग परोसे जाते हैं।