Yatra- ये है झांकी ‘हिन्दुस्तान’ की
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    Yatra- ये है झांकी ‘हिन्दुस्तान’ की

    भारत को मंदिरों का देश भी कहा जाता है। धार्मिक मान्यताओं में मंदिरों का बहुत अधिक महत्व है। प्राचीन काल में राजा-महाराजाओं के समय से ही भारत में मंदिरों का निर्माण शुरू हो गया था।
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    इनमें से कुछ मंदिर तो अत्यंत विशाल, सुंदर तथा अनूठे हैं। यहां हम आपको धारावाहिक रूप से देश के कुछ प्रमुख मंदिरों की झांकी दिखाने जा रहे हैं।
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    भगवान विष्णु को समर्पित श्री वेंकटेश्वर मन्दिर आन्ध्र प्रदेश के तिरुपति में स्थित है। तिरुपति के चारों ओर स्थित पहाड़िया शेषनाग के 7 फनों के समान हैं जो ‘सप्तगिरि’ कहलाती हैं।
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    मंदिर ‘सप्तगिरि’ की 7वीं पहाड़ी पर स्थित है जो ‘वेंकटाद्री’ नाम से प्रसिद्ध है। मन्दिर की देश भर में बड़ी मान्यता है तथा श्रद्धालुओं के बीच यह सबसे बड़ा आकर्षण का केन्द्र है।
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    प्रतिदिन मन्दिर में लाखों श्रद्धालु आते हैं जबकि किसी खास अवसर या त्यौहार जैसे वार्षिक ब्रह्मोत्सवम में श्रद्धालुओं की संख्या लगभग 5 लाख तक पहुंच जाती है।
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    पौराणिक आख्यानों के अनुसार इस मन्दिर में स्थापित वेंकटेश्वर (विष्णु जी के एक रूप) की मूर्ति में ही भगवान बसते हैं और कलियुग की समाप्ति तक वह यहीं विराजमान रहेंगे।
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    वैष्णव परम्पराओं के अनुसार यह मन्दिर 108 दिव्य ‘देसमों’ का एक अंग है। कहा जाता है कि चोल, होयसल और विजय नगर के राजाओं का इस मन्दिर के निर्माण में विशेष योगदान रहा है।
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    इस मंदिर के गोपुरम यानी प्रवेश पर बने शिखर को ‘आनंद निलयम’ (खुशी का निवास) कहा जाता है। यह बेहद सुंदर और स्वर्ण मंडित है।